उठी जो आंख भारत पर
उठी जो आंख भारत पर, उसे इतना गिरा देना।चिरागों से नहीं डरते, मशालें हम, सुना देना। सुहागिन हो गई विधवा,
Read Moreउठी जो आंख भारत पर, उसे इतना गिरा देना।चिरागों से नहीं डरते, मशालें हम, सुना देना। सुहागिन हो गई विधवा,
Read Moreलक्ष्य अधूरा ही रहा, मन में रहा मलाल।मिल जाती कुछ छूट तो, करते बहुत कमाल।।लक्ष्य अधूरा ही रहा, चूक गई
Read Moreकार गांव की तंग पहाड़ी रास्ते से गुजर रही थी। हरे भरे पेड़ों की ठंडी छाया में मौसम सुहावना लग
Read Moreवर्दी पहन के टोपी तान के, कदम फौलादी बढ़ता।हिंद देश के वीर देख के, दुश्मन का दिल धड़का।राफेल, अर्जुन, नाग
Read Moreआंखों से आंसू बह आएं, मानव जब शैतान बन जाता।शीश कलम वैरी का हो तो,गम तभी मुस्कान बन जाता।छीन लिए
Read Moreजब से जन्म लिया धरा पर,परिस्थितियां परिक्षा लेती हैं।चोला मानव का जब से मिला, दुख सुख दस्तक देती है।आसान नहीं
Read Moreचलो तो सही दो कदम, ओ मेरे मन मीत।बिना कर्म के है नहीं, मिले कभी भी जीत।। कर्मशील ही साधना,
Read Moreभारत मां का रूप निराला, आभा इसकी निराली है।बर्फ से ढके पहाड़ इस के, नदियों से हरियाली है। किसान करते
Read Moreप्रेम दिखावा मात्र, छल कपटी इंसान है यहाॅं।संस्कार सब भूल रहे, नहीं धर्म ईमान है यहाॅं।मानव रहा कहाॅं? अब दानव
Read Moreतस्वीर के रंगों की तरह,यह धरती रंगी अजूबा है।चित्रकार है एक खुदा ही उस के सिवा न दूजा है।हिंदी मुस्लिम
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