कविता मृदुल शरण 17/08/2022 काश काश ,अगर ऐसा होता जिंदगी होती एक खुली किताब सभी पढ़ लेते अपने भविष्य का हिसाब कुछ नापसंद पन्नों को Read More
कविता मृदुल शरण 21/07/2022 रिश्ते रिश्ते कभी मोहताज नहीं होते ये तो संबंधों के ताज होते हैं, कभी होते हैं खट्टे तो कभी मिठे, जीवन Read More
कविता मृदुल शरण 20/05/2022 कविता अजब जिंदगी की गजब कहानी बस आनी है और जानी है। कुछ कर्म करनी है, कुछ धर्म करनी है अपनी Read More
कविता मृदुल शरण 23/04/2022 उम्र उम्र ने बुढ़ापे को डराया अब तुम मेरे जाल में हो जब चाहूँ मैं तेरा खाता बंद कर दूंगा बुढापे Read More
सामाजिक मृदुल शरण 04/04/2022 खून, खानदान और विज्ञान आज हम चाहे जितना विकास का डंका बजा दे, चाहे जितना भौतिकता की सुख का आनंद ले रहे हो पर Read More
कविता मृदुल शरण 11/03/2022 बेटियाँ क्यों कहते है कि बेटियाँ होती है पराई, ये बात मुझे आजतक समझ में न आई। किसने? कब? और क्यों? Read More
कविता मृदुल शरण 22/02/2022 ईमानदारी जीवन में चाहे हो जितनी विपरीत घड़ी नहीं छोड़ना तुम अपनी ईमानदारी, जीवन को स्वर्ग बना देती है ये ईमानदारी Read More
कविता मृदुल शरण 19/01/2022 कविता खामोश हूँ, पर गूंगा नहीं दूर हूँ तुमसे पर मजबूर नहीं। तेरी यादें मेरे साथ है बस तू साथ नहीं Read More
कविता मृदुल शरण 09/12/202110/12/2021 रिश्ते खट्टे – मिठे से स्वाद के होते हैं रिश्ते विश्वास की नींव पर टिके होते हैं रिश्ते खुशी हो या Read More
कविता मृदुल शरण 23/11/2021 कविता लोगों की आंखों की किरकिरी है मेरी मुस्कान, क्योंकि मैंने कभी न बनने दी अपने दर्द को अपनी पहचान। किस्मत Read More