बादल छाये
छन्न पकैया छन्न पकैया, काले बादल छाये। जोर जोर से बिजली चमके, सँग में बारिश लाये।। छन्न पकैया छन्न पकैया,
Read Moreजंगल में गरमी बढ़ जाने के कारण सारे पशु-पक्षी बहुत परेशान हो रहे थे।
Read Moreकरते सभी विवाह को, बाँध प्रेम की डोर। इक दूजे का साथ हो, छूटे कभी न छोर।। बेटी होती लाडली,
Read Moreलगते ही बैसाख में, आता है त्यौहार। अक्षय तिथि के दिन सखी, छाये खुशी अपार।। इस दिन शुभ होता सखी,
Read Moreलुटाती प्रेम बच्चों पर, सभी मन मोह लेती है। हमारे साथ रहती है, सदा आशीष देती है।। नहीं वो भेद
Read Moreमन से करो आराधना, प्रभु राम सब के साथ हैं।। हैं सत्य के वे देवता, सिर पर रखे जो हाथ
Read Moreसाल जन्म दिन आये जब भी, यादें बहुत सताती है। चित्र देख कर पापा मेरी, आँखे नम हो जाती है।।
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