मुक्तक/दोहा

मुक्तक

सीधी चोट लक्ष्य पे करना काम कविता का
ज्यादा को थोड़े में कहना नाम कविता का
अच्छे बुरे की कोई परवाह कवि कहाँ करता
खुल कर गाता जो भी हो अंजाम कविता का

— मनोज “मोजू”

 

मनोज डागा

निवासी इंदिरापुरम ,गाजियाबाद ,उ प्र, मूल निवासी , बीकानेर, राजस्थान , दिल्ली मे व्यवसाय करता हु ,व संयुक्त परिवार मे रहते हुए , दिल्ली भाजपा के संवाद प्रकोष्ठ ,का सदस्य हूँ। लिखना एक शौक के तौर पर शुरू किया है , व हिन्दुत्व व भारतीयता की अलख जगाने हेतु प्रयासरत हूँ.