कविता

श्री राम जी का जय घोष करो

जय घोष करो, जय घोष करो
श्री राम जी का जय घोष करो
फहराओ अब तो भगवा झंडा
गाँव-शहर में ये शंखनाद करो।

श्री राम जी  अयोध्या  पधारेंगे
हम सब उनके  चरण पखारेंगे
त्रिवेणी -संगम से, जल लाएंगे
सरयू जलाभिषेक  कर जाएंगे।

माता शबरी का गुणगान करो
सेवा भक्ति को शिरोधार्य करो
जिस पथ पर, आएंगे राम मेरे
उस पथ में सुमन बरसात करो।

सुन्दर सुरभित सुमन सजाओ
रसीले बेरों से टोकरी सजाओ
मेरे राम को फल भोग लगाओ
राजा राम का मंदिर ये सजाओ।

नवधा भक्ति का गुणगान करो
प्रभु श्री राम का अरदास करो
श्री राम कथा का रसपान करो
आत्मा को भव सागर पार करो।

— अशोक पटेल “आशु”

*अशोक पटेल 'आशु'

व्याख्याता-हिंदी मेघा धमतरी (छ ग) M-9827874578