कथा साहित्यलघुकथा

लॉकडाउन से पहले की कथा (लघुकथा)

कटिहार में ट्रेन रुकी, दोनों ने खाने का सामान बाहर निकालकर दोनों एयरबैगों को सीट के नीचे रख दिये । पानी की बोतलें सीट पर ही रख दिये । टिकट चेकर अबतक नहीं आये थे…. ट्रेन अब चल दी, स्पीड पकड़ ली । नाम भले ही महानंदा एक्सप्रेस थी, किन्तु कटिहार से आगे बढ़ने पर दिल्ली तक कहीं भी महानंदा नदी प्रवाहित नहीं होती थी । हाँ, कटिहार जिले में महानंदा बहती जरूर है, उत्तर दिशा से आकर झौआ पुल पारकर दक्षिण-पूर्व अमदाबाद प्रखंड की ओर बढ़कर यह नदी गंगा में मिल जाती है ।

ट्रेन कुर्सेला के गंगा पुल क्रॉसिंग करने लगी थी और शायद नवगछिया में टीटीई उस बोगी में चढ़ा । राजेश ने देखा, उन्होंने सदानंद से कहा कि वह लैट्रिनरूम से आ रहा है, टिकट चेकर को टिकट दिखा देना, किन्तु उनके बारे में चेकर से कुछ भी जिक्र नहीं करना ! वे लैट्रिनरूम की तरफ चल दिये । सदानंद को बड़ा अजीब लगा, किन्तु उनका कृत्य कौतुक भी लगा ! हालाँकि राजेश के पास जेनरल टिकट थी ! टीटीई के जाने के बाद वे लौटे और सदानंद से सटकर बैठ गए, फिर दोनों की नज़र मिली और दोनों ही मुस्करा उठे !

डॉ. सदानंद पॉल

एम.ए. (त्रय), नेट उत्तीर्ण (यूजीसी), जे.आर.एफ. (संस्कृति मंत्रालय, भारत सरकार), विद्यावाचस्पति (विक्रमशिला हिंदी विद्यापीठ, भागलपुर), अमेरिकन मैथमेटिकल सोसाइटी के प्रशंसित पत्र प्राप्तकर्त्ता. गिनीज़ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स होल्डर, लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड्स होल्डर, इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स, RHR-UK, तेलुगु बुक ऑफ रिकॉर्ड्स, बिहार बुक ऑफ रिकॉर्ड्स इत्यादि में वर्ल्ड/नेशनल 300+ रिकॉर्ड्स दर्ज. राष्ट्रपति के प्रसंगश: 'नेशनल अवार्ड' प्राप्तकर्त्ता. पुस्तक- गणित डायरी, पूर्वांचल की लोकगाथा गोपीचंद, लव इन डार्विन सहित 12,000+ रचनाएँ और संपादक के नाम पत्र प्रकाशित. गणित पहेली- सदानंदकु सुडोकु, अटकू, KP10, अभाज्य संख्याओं के सटीक सूत्र इत्यादि के अन्वेषक, भारत के सबसे युवा समाचार पत्र संपादक. 500+ सरकारी स्तर की परीक्षाओं में अर्हताधारक, पद्म अवार्ड के लिए सर्वाधिक बार नामांकित. कई जनजागरूकता मुहिम में भागीदारी.