गीतिका/ग़ज़ल

जागो मतदाता अब जागो

राजनीति का महासमर है !!

जिसका चर्चा हर घर घर है!!

पता नहीं किस करवट बैठे,,

ऊंट, सभी को इसका डर है!!

मतदाता ही भाग्य विधाता,,

मतदाता ही अब ईश्वर है!!

वंदन अभिनन्दन क्रम जारी,,

चर्चा में प्रत्येक खबर है !!

जागो मतदाता अब जागो,,

एक वोट का बड़ा असर है !!

— समीर द्विवेदी नितान्त

समीर द्विवेदी नितान्त

कन्नौज, उत्तर प्रदेश