नंदलाला बाल गोपाला
घर – घर बाजें मधुर शहनाईजन्में नटखट कृष्ण कन्हाई।जन – मन में छाया हर्षोल्लासनगर-नगर बांटी मिश्री मिठाई।। सजी-धजी मोहक मथुरा
Read Moreघर – घर बाजें मधुर शहनाईजन्में नटखट कृष्ण कन्हाई।जन – मन में छाया हर्षोल्लासनगर-नगर बांटी मिश्री मिठाई।। सजी-धजी मोहक मथुरा
Read Moreवो शिव हैं, वो सत्य हैं, वो ही पालनहारदेवाधिदेव हैं महादेव वो जगत के आधारहै भस्म अंग, गल भुजंग वो
Read Moreजटा विराज गंगधार शीश चंद्र सोहते।निहारते स्वरूप तेज तीन लोक मोहते।।विराजमान कंठ नाग है त्रिशूल हाथ में।जहाँ–जहाँ चले शिवा सदैव
Read Moreलो जी फिर सावन मास आ गया सोच विचार अब त्याग दो, हम सब भोले के धाम चलें आओ! चलो
Read Moreशिव आदिनाथ, शिव नील कंठ,रखे शीश गंग , सजे चन्द्र माथ।प्रभु दीन हीन जड़ सबके नाथ,पशु प्रेमी शिवजी पशुपतिनाथ। कर
Read Moreघिर घिर बदरी छाई, अंबर से बरसे बूंदों की फुहार,मन भावन ऋतु बरखा लाई, सावन में अमृत की बहार,“आनंद” मग्न
Read Moreऔघड़दानी,हे त्रिपुरारी,तुम प्रामाणिक स्वमेव ।पशुपति हो तुम,करुणा मूरत,हे देवों के देव ।।श्रावण में जिसने भी पूजा,उसने तुमको पाया।पूजन से यह
Read Moreमहामाया,गौरवर्ण लिए मुख पर कांति महागौरी शीतल मन सकल हैं, शांति अष्टम रुप महागौरी । चतुर्भुजा,वृषभ सवारी आलौकिक सिद्धि शक्ति श्रीफल का नैवेद्य प्रिय देती
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