वैदिक संध्या बनाम नमाज़
शंका- वैदिक संध्या प्रात: और सांय दो बार करने का प्रावधान बताया गया हैं। जबकि नमाज़ एक दिन में पांच
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Read Moreओ३म् महर्षि दयानन्द वैदिक विचारधारा के ऋषि, विद्वान, आप्तपुरुष, सन्त, महात्मा सहित देश व समाज के हितैषी अपूर्व महापुरुष थे।
Read Moreओ३म् स्वाध्याय करते समय आज मन में विचार आया कि महर्षि दयानन्द ने गुरु विरजानन्द जी की आज्ञा से
Read Moreओ३म् –नये वर्ष का प्रथम दिन शुभ संकल्प लेने का दिन है- हमें हमारे माता-पिता इस संसार में लाये।
Read Moreओ३म् वर्तमान समय में हमने व हमारे देश ने आंग्ल संवत्सर व वर्ष को अपनाया हुआ है। इस आंग्ल
Read Moreओ३म् ज्ञान व विज्ञान की चरम उन्नति होने पर भी मनुष्य आज भी आधा व अधूरा है। आज
Read Moreओ३म् उपासना का उल्लेख आने पर पहले उपासना को जानना आवश्यक है। उपासना का शब्दार्थ है समीप बैठना। हिन्दी
Read Moreओ३म् मनुष्य के व्यवहार पर ध्यान दिया जाये तो यह सत्य व असत्य का मिश्रण हुआ करता है। जो मनुष्य
Read Moreओ३म् भारत में सबसे अधिक पुरानी, आज भी प्रासंगिक, सर्वाधिक लाभप्रद व सत्य मूल्यों पर आधारित धर्म व संस्कृति ‘‘वैदिक
Read Moreओ३म् –स्वामी श्रद्धानन्द बलिदान दिवस आयोजन सम्पन्न– स्वामी श्रद्धानन्द बलिदान दिवस का आयोजन जिला आर्य उप-प्रतिनिधि सभा, देहरादून के तत्वावधान
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