कविता

मोती

मेरे जीवन और
उसके पल-पल लम्हों का आधार
मेरे प्रति तुम्हारा समर्पित प्रेम ही है
जब संवेदनाओं की अनन्त क्रियाएं….
तुम्हारे हृदय से तरंगित हो
मेरे दिल के कोरे पन्नों पर विश्वास की स्याहियों से
प्रेम गीत लिखती है तो उसमें समाहित
सुकोमल एहसास तुम्हारा
मेरे सम्पूर्ण स्त्री मन को अपने अधरों में समेटकर
तृप्ति का अलौकिक सुख देती है
मेरा मन परत दर परत भीगने लगता है
तुम्हारे प्रेमसिक्त एहसासों के समंदर में डूबकर
प्रेम की अनमोल मोती स्वरूप तुम्हें पाना
सम्पूर्ण जीवन ही चमक उठा मेरा।

*बबली सिन्हा

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