गाँव के दोहे
कितना मोहक,नेहमय, लगता प्यारा गाँव । हनमत-मंदिर सिद्ध है,बरगद की है छाँव।। रज़िया-राधा हैं सखी,मित्र राम-रहमान। सारे मिलकर पूजते,गीता और
Read Moreकितना मोहक,नेहमय, लगता प्यारा गाँव । हनमत-मंदिर सिद्ध है,बरगद की है छाँव।। रज़िया-राधा हैं सखी,मित्र राम-रहमान। सारे मिलकर पूजते,गीता और
Read Moreऐे सैनिक,फौज़ी,जवान, है तेरा नितअभिनंदन। अमन-चैन का तू पैगम्बर,तेरा है अभिवंदन।। गर्मी,जाड़े,बारिश में भी,तू सच्चा सेनानी अपनी माटी की रक्षा
Read More(1) मुझे गीता ने सिखलाया,जिऊँ मैं कैसे यह जीवन सुवासित कैसे कर पाऊँ,मैं अपनी देह और यह मन मैं चलकर
Read Moreवंदन है,नित अभिनंदन है, हे शिक्षक जी तेरा । फूल बिछाये पथ में मेरे,सौंपा नया सबेरा ।। भटक रहा था
Read Moreमंडला-गत दिवस निराला साहित्य जन कल्याण समिति बरेली- म.प्र. के ऑनलाइन कवि-सम्मेलन का आयोजन डॉ. लता “स्वरांजलि”(भोपाल) के संचालन में
Read Moreभारत मां के अभिनंदन में,आओ हम जयगान करें । नित्य चुनौती का प्रत्युत्तर दे,रक्षित मां की आन करें ।। हमने
Read More“पापाजी,मेरे स्कूल से नोटिस आया है।” ‘उसमें क्या लिखा है ।” “उसमें लिखा है कि यदि आपने तीन दिन में
Read More“अनिल भाई, आजकल दिखते नहीं हो ।कहां बिजी रहते हो ?” “राकेश जी, नौकरी की ड्युटी में लगा रहता हूं
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