लघुकथा

मित्रता दिवस

मित्रता दिवस के अवसर बारहवीं कक्षा के सभी बच्चों को स्कूल कैंपस में खाली पड़ी ज़मीन पर ले जाया गया। बच्चे समझ नहीं पा रहे थे कि माज़रा क्या है। उनकी दुविधा को समझ कर प्रिंसिपल मैम ने बच्चों को संबोधित करते हुए कहा- “आप सोंच रहे होंगे कि आप लोगों को यहाँ क्यों लाया गया है। आज यहाँ हम खास कारण से इकठ्ठे हुए हैं।”
“वह खास कारण क्या है?” बीच में खड़े एक बच्चे ने सवाल किया।
“हमारे आसपास का वातावरण दिन पर दिन दूषित हो रहा है। कई बच्चे इसके कारण बीमार पड़ रहे हैं। इसका कारण है पेड़ पौधे जो वातावरण को शुद्ध रखते हैं वह तेजी से काटे जा रहे हैं। अतः मित्रता दिवस पर हम एक नई दोस्ती का आरंभ करेंगे। इस खाली ज़मीन पर पौधे लगाकर हम प्रकृति से दोस्ती का हाथ मिलाएंगे।”
“पर मैम इस छोटी सी ज़मीन पर पौधे लगाकर पूरे शहर को प्रदूषण मुक्त कैसे कर सकते हैं।” एक अन्य छात्रा ने पूंछा।
“यह एक छोटी सी पहल है। जब हम शुरुआत करेंगे तभी तो दूसरों को भी इस मिशन से जुड़ने को कह सकेंगे।”
प्रिंसीपल मैम की बात सबको समझ में आ गई। उसके बाद शिक्षकों तथा बच्चों ने उस भूमि पर पौधे रोप कर नई मित्रता की शुरुआत की।

*आशीष कुमार त्रिवेदी

नाम :- आशीष कुमार त्रिवेदी पता :- C-2072 Indira nagar Lucknow -226016 मैं कहानी, लघु कथा, लेख लिखता हूँ. मेरी एक कहानी म. प्र, से प्रकाशित सत्य की मशाल पत्रिका में छपी है