कविता

शायर बन गया

पहले नजर में उन्हे देखा
शायर बन गया जी,
आग लग मन मेरे
हलचल मच गया जी,
उनकी नजर में जादू है
सबकुछ लूट गया जी,
उनकी अदायें क्या खूब है
दिल फिसल गया जी,
ये मौसम मस्त बहार सा
पवन की झौका सा
पुरवईया सा बह गया जी,
उनकी शर्मीली नजर
हमसे कुछ कह गया जी।।
अभिषेक राज शर्मा

अभिषेक राज शर्मा

कवि अभिषेक राज शर्मा जौनपुर (उप्र०) मो. 8115130965 ईमेल as223107@gmail.com indabhi22@gmail.com