कविता

अपना इन्द्रधनुष हमें खुद सजाना होगा

महिला दिवस पर सृजित

मनु ने कहा था-
‘यत्र नार्यस्तु पूज्यंते रमंते तत्र देवता”
मनु की बात को क्या सारा जमाना मानेगा?
क्या हमें उधार के सम्मान से खुद को बहलाना होगा?
अपना इन्द्रधनुष हमें खुद सजाना होगा.

हम सम्मान मिलने लायक काम करें
सम्मान की चिंता नहीं करें
हम सबका सम्मान करेंगे तो सब हमारा सम्मान करेंगे
हम बोलने की पहल करेंगे तो सभी हमसे बोलेंगे
बस अहम और वहम को हटाना होगा
अपना इन्द्रधनुष हमें खुद सजाना होगा.

जमाना निर्भया को निर्भय नहीं रहने देता है
उसके साथ दरिंदगी करके उसे मौत दे देता है
कानून अपनी पंडिताई हारते नहीं देखना चाहता
कानून के नाम पर दलीलों का तोहफा देता है
मौत की सजा को बहुत लंबा खींच देता है
बेटी के न्याय के लिए बिलखती मां की पीड़ा को
उजागर और मुखर करने को आगे आना होगा
अपना इन्द्रधनुष हमें खुद सजाना होगा.

शान के साथ जीतू शर्मा को कोई जीने नहीं देता है
55 वर्ष का साजिद ‘ना’ के बदले तेजाब उड़ेलता है
ऐसिड अटैक सर्वाइवर जीतू शर्मा को क्या पल-पल तड़पना होगा?
अपनी मौलिकता को खुद अपनी पहचान बनाना होगा
अपना इन्द्रधनुष हमें खुद सजाना होगा.

आदिकाल से हमारे देश की नारी सशक्त रही है
महिषासुर जैसे राक्षसों का संहार करके देवी कहलाई है
विद्वान-शक्तिशाली रावण पर मंदोदरी ज्ञान में भारी पड़ती है
कालिदास को विद्वान भी विद्योत्तमा ही बनाती है
गार्गी-मैत्रेयी ज्ञान की गंगधार बहाती हैं
अपने दम से हमको भी सम्मान खुद हासिल करना होगा
अपना इन्द्रधनुष हमें खुद सजाना होगा.

महिला चाहे तो क्या नहीं कर सकती!
चट्टान बनकर पर्वत को हिला सकती है
साहस के संबल से आसमां को झुका सकती है
हर क्षेत्र में अपना जलवा दिखा सकती है
”आशा” का दीपक जलाकर सुप्रीम कोर्ट से टक्कर ले सकती है
बस साहस से चुनौतियों का सामना करना होगा
देश के विकास में सुदृढ़ स्तम्भ बनना होगा
हमें आत्मविश्वास का अपना सूरज खुद जलाना होगा
अपना इन्द्रधनुष हमें खुद सजाना होगा.

8.3.20

”आशा” निर्भया की पूजनीय माताजी का नाम है, जो दृढ़ता से बेटी को न्याय दिलाने के लिए डटी हुई हैं.

*लीला तिवानी

लेखक/रचनाकार: लीला तिवानी। शिक्षा हिंदी में एम.ए., एम.एड.। कई वर्षों से हिंदी अध्यापन के पश्चात रिटायर्ड। दिल्ली राज्य स्तर पर तथा राष्ट्रीय स्तर पर दो शोधपत्र पुरस्कृत। हिंदी-सिंधी भाषा में पुस्तकें प्रकाशित। अनेक पत्र-पत्रिकाओं में नियमित रूप से रचनाएं प्रकाशित होती रहती हैं। लीला तिवानी 57, बैंक अपार्टमेंट्स, प्लॉट नं. 22, सैक्टर- 4 द्वारका, नई दिल्ली पिन कोड- 110078 मोबाइल- +91 98681 25244

One thought on “अपना इन्द्रधनुष हमें खुद सजाना होगा

  • लीला तिवानी

    ऐसिड अटैक सर्वाइवर जीतू शर्मा की कहानी, 55 वर्ष के साजिद ने ‘ना’ के बदले तेजाब उड़ेला
    उत्तर प्रदेश के अलीगढ़ जिले की रहने वालीं जीतू शर्मा पर वर्ष 2014 में ऐसिड अटैक हुआ था। जीतू ने हिम्मत नहीं हारी. उनका कहना है-
    ”मैंने कैफे जॉइन किया। मुझे अपने जैसे कई दोस्त मिले। मैंने बॉलिवुड फिल्म छपाक में दीपिका पादुकोण के साथ भी काम किया है। अब तो लोगों को मेरा इंतजार रहता है। सब मेरा फोन नंबर मांगते हैं।”

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