कविता

डाल डाल फूल महके….

डाल डाल फूल महके

सरसों का पीला रंग देखकर

मन बहके

टेसू के पुष्पों सा

उमंग दहके

फुनगियों पर चिड़िया चहके

बिना बादलों के

नीले आसमान से

कुछ कहना चाहूँ

मौन रहके

मधुप सुनते नहीं

अपनी धुन में ही

बस रहते

सारे रंग झर रहे

उड़ती हुई

तितलियों के पर से

जिसे तुमने

छुवा था वह सागौन का

भूरा पत्ता आया है

मुझ तक उड़के

शायद तुमने भेजा हो

कोई अनलिखा सन्देश

उसकी नसों में लिख के

बंद हथेलियों में आओगे तुम

प्यार के सातों रंग लेके

मुस्कुराओगे फिर

अचानक

मेरे गालोँ पर

गुलाल मल के

किशोर कुमार खोरेन्द्र

किशोर कुमार खोरेंद्र

परिचय - किशोर कुमार खोरेन्द्र जन्म तारीख -०७-१०-१९५४ शिक्षा - बी ए व्यवसाय - भारतीय स्टेट बैंक से सेवा निवृत एक अधिकारी रूचि- भ्रमण करना ,दोस्त बनाना , काव्य लेखन उपलब्धियाँ - बालार्क नामक कविता संग्रह का सह संपादन और विभिन्न काव्य संकलन की पुस्तकों में कविताओं को शामिल किया गया है add - t-58 sect- 01 extn awanti vihar RAIPUR ,C.G.

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