आदर्श सन्यासी (लघुकथा)
फूल ले लो…हाँक लगाता हुआ ठेलेवाला जैसे ही सोसायटी में आया महिलाएँ निकल पड़ीं अपने लिये फूल और गमले खरीदने
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Read More“चलो कपड़े पहनते हैं अब इश्क़ पूरा हुआ… छी… बस यही रह गया है प्यार-मुहब्बत का पर्याय…” कहते हुये निशा ने
Read Moreअब्दुल बहुत दिनों बाद घाटी में अपने घर आया था | उसने चारों तरफ देखा, घर में उसकी बूढी अन्धी
Read Moreतब हामिद क्या करता, कल्पना करना मुश्किल लगा तो सोच रही हूँ… गाँधीमैदान में ट्रेड फेयर लगा था। स्कूल के कुछ
Read Moreआज एक समाचार पढ़ा गोवा के सीएम मनोहर पर्रिकर अग्नाशय के कैंसर से पीड़ित हैं और रविवार को पर्रिकर पहली
Read More“बेटा अनंत, पिछले महीने तेरे पापा को ज़बरदस्त हार्ट अटैक आया था।” शहर में नौकरी कर रहे अनंत से गांव
Read Moreआज अनिमेष की खुशी का ठिकाना ही नहीं था. उसे पनडुब्बी-निदेशक का महत्त्वपूर्ण पद जो हासिल हुआ था. खुशी के
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