परहेज
“बहू, आज नाश्ते में छोले भठूरे बनाओ ना, बड़े दिन हुए खाये नही हैं” नीना की सास रेवती ने फरमाईश
Read More“यह क्या है दादू? रंग उखड़ गया- सा लगता है और जंग भी लग गई है। “इसे लेटर बॉक्स कहते
Read Moreरोहित की सर्विस विदेश में लग जाने के कारण उसको अपने वतन की बहुत याद आती है| माता पिता उसकी
Read Moreधनराज बैलगाड़ी लेकर खेत जाने की तैयारी में था। अपने दोनों बैलों को कोटना में पानी भरकर भूसा खिला रहा
Read Moreअन्तरकाॅलेज वाद-विवाद प्रतियोगिता में अन्य काॅलेज के वक्ताओं के बाद बारी आई हमारे ही काॅलेज के मेधावी छात्र जीवन की
Read Moreराज और बबलु एक ही साथ पढते थे इस कारण दोनो की दोस्ती बहुत अच्छी थी। हर पल दोनो एक
Read Moreमनोहर जी अवकाश प्राप्त सरकारी कर्मचारी थे। और रिटायरमेंट के बाद भी जिंदगी को बड़ी जिंदादिली से जीते थे। उनके
Read Moreसंजय शाम को जब दफ्तर से आया तो थोड़ा बुझा-बुझा सा लगा। छाया को तुरंत कुछ पूछना अच्छा नहीं लगा
Read Moreरमा ग्रीष्मावकाश में स्कूल की छुट्टी के बाद घूमने की लंबी योजना बना रही थी। तभी उनके पति अरविंद ने
Read Moreआज अन्नू ज्यों ही विवाह कर ससुराल प्रवेश की पूरे घर में भगदड़ मच गई। सभी के मुंह से एक
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