अनकही
किस पथ पर सखे ऐसे मिलेशुरू कैसे हो वह सिलसिले।भरे पूरे चमन तुम्हारेक्यों ना उन यादों को पी ले? खाद
Read Moreआज दोपहर मित्र यमराज आया बिना किसी सभ्यता के बार-बार द्वार खटखटाया,भन्नाते हुए श्रीमती जी ने द्वार खोला उन्हें देख बेचारे के
Read Moreअभी-अभी मित्र यमराज मेरे पास आया और बड़े प्यार से फरमाया-प्रभु! आपको यमलोक चलना है।मैं चकराया – कहीं भाँग खाकर तो
Read Moreदेश बचाया मोदी ने, प्रदेश बचाया योगी नेदेश बनाया मोदी ने, प्रदेश बनाया योगी ने भीष्म पितामह के जैसा, सरशैय्या
Read Moreछायाओं में ढलती साँझ सी,वह हार जब आयी चुपचाप,न याचना, न प्रतिकार…बस दृष्टि में एक बुझा हुआ आकाश। होठों पर
Read Moreजीवन के इस सफ़र में,हर मोड़ पर कोई न कोई साथ छोड़ देता है,कभी उम्मीद, कभी लोग —तो कभी ख़ुद
Read More