प्रहरी
दुखता हुआ नासूर हर पल दर्द देता है गिरता हुआ आँसूं जब अकेला बना जाता है दर्द का प्रहरी न
Read Moreनारी हूँ मैं सिर्फ यही चिंता तो समाज को है , कौन जानता है दुख मेरा , सबको मतलब सिर्फ
Read Moreमैं अपने कामों में ईमान रखता हूँ सो सबसे अलग पहचान रखता हूँ बना रहे हिन्दोस्तान मेरा शहंशाह अपने तिरंगे
Read Moreमेरे घर का आईना भी कितना झूठ बोलता है आज खड़ी हुई इसके सामने तो दिखाने लगा मुझे मेरे बालों
Read Moreहे हंस वाहिनी मुझे वरदान दो वरदान दो | अपनी कृपा की कोर दो उत्थान दो वरदान दो | वागीश
Read Moreप्रकृति की नैसर्गिक सुषमा का अवलोकन करना किसको नहीं भाता ,मुझे भी बहुत लुभाती है यह प्रकृति | विवाह के
Read Moreक्या हुआ? क्यों सड़क पर? पैर फैलाये बैठे हो क्या कोई तकलीफ है? या दुख सिर पर सवार है बताओ
Read Moreहमारे घर में मेरे अलावा छोटे-बड़े सभी कम्प्यूटर-विशेषज्ञ हैं. मैं कम्प्यूटर में जीरो इसलिए रह गई, कि न तो मैंने
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