कहानी – पुत्र मोह
सुरमू बच्चपन से ही शरारती था वैसे उसका स्कूल का नाम सुरम सिंह था लेकिन सभी उसे सुरमू ही बुलाते
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Read Moreआदमी कितना एहसान फरामोश हो गयाअपने ही नशे में मदहोश हो गयामिलते हुए भी ज़िन्दगी में सब कुछदिल से क्यों
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Read Moreइस ज़माने में शरीफों से कौन है मिलताटूटे दिल के टुकड़ों को कौन है सिलतापड़ोसी को सुखी देख कर दुखी
Read Moreआजकल जिधर भी नज़र दौड़ाओकंस और रावण ही नज़र आते हैंलोग भी रावण को जलाते हैं हर बारन जाने क्यों
Read Moreपहाड़ की ठंडी हवाओं का मज़ालेने आते थे लोग जाते थे ठहरज़्यादा फर्क नहीं रहा अब पहाड़ और मैदानों मेंआग
Read Moreसुना था शहर में मिलता है फसल का अच्छा दामयही सोच कर निकल पड़ा गांव से एक किसानदो घंटे की
Read Moreआ रही है दीपावलीअबके बरस तुम रखना ख्यालमिट्टी के दीपक तुम खरीदनाहो जाएगी उनकी दीवाली भी खुशहाल पटाखे जलाकर प्रदूषण
Read Moreमिल जाती है जब किसी को बहुत खुशीउम्र बीत गई थी जिसको रहता था दुखीदिल चाहे उड़ना आसमान में उसकाभावनाएं
Read Moreयह ज़िन्दगी क्या हैजिसने यह राज पा लियासमझो उसने ज़िन्दगी का साथबड़े अच्छे से निभा लिया यह ज़िन्दगी एक पहेली
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