कविता

कविता

समान सवैया “शारदा वंदना”

32 मात्रिक छंद / समान सवैया / सवाई छंद कलुष हृदय में वास बना माँ, श्वेत पद्म सा निर्मल कर

Read More
कविताभजन/भावगीत

समान सवैया “वन्दना”

सवाई छंद/समान सवैया/32 मात्रिक छंद “वन्दना” इतनी ईश दया दिखला कर, सुप्रभात जीवन का ला दो। अंधकारमय जीवन रातें, दूर

Read More