लोकतंत्र की बदसूरती बढ रही
बदसूरत बन रहा लोकतंत्र हमारा, धनबल,जांच, इसको देता सहारा !! चुनकर आते हैं जिसके विरोध में, फिर भी सरकार बनाते
Read Moreबदसूरत बन रहा लोकतंत्र हमारा, धनबल,जांच, इसको देता सहारा !! चुनकर आते हैं जिसके विरोध में, फिर भी सरकार बनाते
Read Moreअर्द्धनारीश्वर को पूजे तू और ताने से मुझे पुकारता शिव भक्त बनता है मुझको तो तू प्रताड़ता कैसा तेरा ये
Read Moreहम सबको सोचना होगा आखिर हम जग में क्यों आये? घर,परिवार ,समाज, राष्ट्र में अनीति, अत्याचार, दुराचार भ्रूण हत्या, व्यभिचार
Read More