जब तुम मिली
जब तुम मिली मुझे ऐसा लगा। जमाने की सारी खुशी मिल गई। जब तुम मिली,तब मैं ऐसा समझा। जिन्दगी में
Read Moreजब तुम मिली मुझे ऐसा लगा। जमाने की सारी खुशी मिल गई। जब तुम मिली,तब मैं ऐसा समझा। जिन्दगी में
Read Moreहर हुस्न का जो जश्न था, एक रोशनी में ढ़ल गया; हर अहं का जो बहम था, परमात्म में मिल
Read Moreघर- आँगन, गली- गली में, शोर हो गया, माँ कहती है जल्दी उठ, अब भोर हो गया। चिड़ियाँ चहक
Read Moreधरती तपती लोहे जैसी गरम थपेड़े लू भी मारे । अमलतास तुम किसके बल पर खिल- खिल करते बाँह
Read Moreसम्राट हम पैदा हुए, पर सृष्टि ना समझा किए; ना विरासत से कुछ लिये, ना विराटित हिय को किए ।
Read Moreदेख रहा हूँ अभी ये शहर सोया है जागता है तो दौड़ता है अभी सपनों में खोया है रोशनियाँ जल
Read Moreबारिश ने कल काल का अविचल रूप बनाया था, कृषकों के कंदुक स्वप्नों को बीती रात बहाया था, रीति गागर,
Read Moreप्यार राम में है प्यारा अल्लाह लगे, प्यार के सूर तुलसी ने किस्से लिखे प्यार बिन जीना दुनिया में
Read Moreतुम मेरे हो और मेरे ही रहोगे। हमें छोड़ कर आखिर कहाँ जाओगे। मैं आश लगाये बैठीं हूँ, कब मेरे
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