मुस्कुराहट (कविता)
(विश्व मुस्कान दिवस पर विशेष) मुस्कुराहट तो बस मुस्कुराहट है भले ही इस अदा में भी व्यक्तित्व की भिन्नता की
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Read Moreसत्य के मार्ग पर… तो चलूंगा। लेकिन भ्रष्ट सोच को, अहिंसा से कैसे मिटाऊंगा। मैं गांधी ना बन पाऊंगा। क्या………
Read Moreपूछती धरा कभी गगन से …. होगा अपना भी मिलन फिर तुम उदास क्यों हो? देख कर तुम्हारी व्यथा मन
Read Moreन धर्म न जाति देखें आओ ऐसा हिन्दोस्तान बनाते हैं। कुछ हम बदलें कुछ तुम बदलो चलो सुंदर जहान बनाते
Read Moreआखिर कब तक हम बेटियां यूं ही लुटती पिटती मरती रहेंगी, कब तक हमारी खुशियां हमारा सुखचैन यूं ही छिनता
Read Moreजीवन बनके दौड़ौ हर जिंदगानी में रक्त से ही जिक्र शुरू है हर कहानी में मानवता और ,सह अस्तित्व को
Read Moreयमराज जी बोर हो गए अपनी पुरानी ड्रेस और भैंसे की सवारी से सो उन्होंने लिया एक निर्णय और बोले
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